लौट आओ...

एक मन ही तो था जो बदल गया,

एक नजर ही तो थी जो पलट गई, 

एक सांस ही तो थी जो रुक गई, 

इसमें शिकवा किससे करें और शिकायत भी,

एक जिंदगी ही तो थी जो रुठ गई...




सांसे लेती हैं करवट तेरी हर आहट के बाद,

धड़कन चलती है तेरी हर मुस्कान के बाद,

तुने क्या मुंह फेर लिया हमसे,

जमाना ही रुक गया है तेरे जाने के बाद...


भीगी सी रहती हैं ये पल्के हर शाम,

रोज होता है एक आंसू तेरे नाम, 

जब दिल ने चाहा जीना तेरे संग,

ठुकरा दिया हमें करके दोस्ती को बदनाम

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